सर्दियों में च्यवनप्राश का सेवन बहुत से फायदे पहुंचाता
लेकिन इसका इस्तेमाल कब, कैसे और कितना करना चाहिए,
भोजन हो या मेडिसिन, फायदा तभी पहुंचाती है जब सही मात्रा में, सही तरह से ली जाए. सर्दियों का एक ऐसा ही आइटम है च्यवनप्राश. इसे इम्यूनिटी बढ़ाने से लेकर, भूख बढ़ाने और सर्दी-खांसी से बचने के लिए इस्तेमाल किया जाता है. सर्दी आते ही लोग तरह-तरह के च्यवनप्राश खाने लगते हैं. हालांकि इसके इस्तेमाल और सेवन में कुछ सावधानियां बरतना जरूरी होता है, तभी इससे भरपूर फायदा मिल पाता है.च्यवनप्राश चुनने से पहले अपनी मुख्य जरूरत देख लें. जैसे आपको ये इम्यूनिटी के लिए चाहिए, वीकनेस के लिए, कफ-कोल्ड के लिए या किसी और पर्पज से. बाजार में कुछ खास च्यवनप्राश आते हैं जो जरूरत के मुताबिक चुने जा सकते हैं. जैसे डायबिटिक पेशेंट्स के लिए खास शुगरफ्री च्यवनप्राश इस्तेमाल किए जाते हैं. बच्चों के लिए अलग च्यवनप्राश उपलब्ध हैं. इसलिए अपनी जरूरत के मुताबिक सही प्रोडक्ट का चुनाव करें.
क्या है सेवन का सही तरीका
च्यवनप्राश के सेवन का बेस्ट तरीका ये है कि रात में सोने से पहले इसे गुनगुने दूध के साथ एक चम्मच और सुबह नाशते के बाद एक चम्मच लें. अगर दूध से नहीं लेना चाहते तो गुनगुने पानी से ले सकते हैं. बच्चों को आधा चम्मच से ज्यादा न दें और बड़े एक चम्मच ले सकते हैं. बहुत छोटे बच्चों को च्यवनप्राश न दें या डॉक्टर से सलाह ले लें. किसी गंभीर या अलग तरह की बीमारी से ग्रस्त हों तो भी इसके सेवन से पहले डॉक्टर की राय ले लें.
कैसे चेक करें प्योरिटी
च्यवनप्राश लेने के बाद उसकी प्योरिटी जरूर चेक कर लें ताकि आगे के लिए सावधान हो सकें. इसके लिए एक कटोरी में पानी लें और जरा सा च्यवनप्राश उसमें डालें. अगर वह प्योर होगा तो नीचे बैठ जाएगा. जिसमें मिलावट होती है वह ऊपर तैरने लगता है या उसके कुछ पार्टिकल ऊपर तैरने लगते हैं. दरअसल च्यवनप्राश में मिलावट के नाम पर कुछ लोग सब्जियां जैसे लौका या कदूद मिला देते हैं ताकि कॉस्ट कम हो जाए और ज्यादा दामों में उसे बेच दें. आपको बस इसी की मिलावट देखनी होती है.