अनामता ने 92 परसेंट मार्क्स स्कोर किए हैं. एक हादसे में अपना सीधा हाथ खो चुकी हैं. उनका उल्टा हाथ भी ठीक से काम नहीं करता
जहां सब सुख-सुविधाएं मिलने के बाद भी कुछ लोग रोना रोने से बाज नहीं आते, वहीं अनामता ने बहादुरी की मिसाल पेश की
कहते हैं हौसलों में उड़ान हो तो कोई भी परेशानी उसके आगे टिक नहीं सकती. मुंबई की 15 साल की अनामता अहमद को ही ले लें. जहां सब सुख-सुविधाएं मिलने के बाद भी कुछ लोग रोना रोने से बाज नहीं आते, वहीं अनामता ने बहादुरी की मिसाल पेश की है. इस बार के आईसीएसई बोर्ड के नतीजो जारी हो चुके हैं और अनामता ने 92 परसेंट मार्क्स स्कोर किए हैं. उनके अंक इसलिए खास हैं कि वे एक हादसे में अपना सीधा हाथ खो चुकी हैं. उनका उल्टा हाथ भी ठीक से काम नहीं करता है अनामता की बहादुरी और जिंदादिली की जितनी तारीफ की जाए कम है. मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक अपने भाई-बहनों के साथ खेलते हुए उन्होंने गलती से एक इलेक्ट्रिक केबल को छू लिया था और उनका पूरा हाथ बुरी तरह से जल गया था. उनके इस हाथ को एम्प्यूटेट करना पड़ा यानी नकली हाथ लगाना पड़ा. वे करीब डेढ़ महीना अस्पताल में रहीं.उनका उल्टा हाथ भी पूरी तरह काम नहीं कर रहा था पर इन सबके बावजूद उन्होंने ना केवल पढ़ाई जारी रखी बल्कि 92 परसेंट मार्क्स स्कोर किए. जहां अस्पताल वालों ने एक या दो साल ब्रेक लेने की सलाह दी थी वहीं अनामता के जज्बे ने उन्हें रुकने नहीं दिया.
बता दें कि कल यानी सोमवार को आईसीएसई और आईएससी के नतीजे जारी हुए हैं. अनामता ने 92 परसेंट के अंक पाए हैं. इसका मतलब ये भी है कि उन्होंने पांच विषयों में बेस्ट अंक स्कोर किए हैं. इतना ही नहीं अपने स्कूल में उन्होंने 98 मार्क्स लाकर हिंदी में टॉप किया है. वे मुंबई, अंधेरी के सिटी इंटरनेशनल स्कूल की छात्रा हैं.हादसे में अपना सीधा हाथ गंवाने के बाद अनामता ने उल्टे हाथ से लिखने की प्रैक्टिस की. हालांकि ये आसान नहीं था पर उन्होंने हिम्मम नहीं हारी. उनके टीचर्स ने उन्हें सलाह दी कि एग्जाम में समय पर पेपर खत्म करने के लिए उन्हें किसी और से परीक्षा लिखवा लेनी चाहिए, उन्होंने ऐसा ही किया और नतीजे सबके सामने हैं.