सरकार ने गहनों के निर्यात में सोना, चांदी और प्लैटिनम सामग्री के लिए अनुमति प्राप्त नुकसान यानी वेस्टेज की मात्रा के नए मानदंडों पर 31 जुलाई, 2024 तक रोक लगा दी है
नए मानकों पर रत्न और आभूषण उद्योग ने गंभीर चिंता जताई थी.
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सरकार ने गहनों के निर्यात में सोना, चांदी और प्लैटिनम सामग्री के लिए अनुमति प्राप्त नुकसान यानी वेस्टेज की मात्रा के नए मानदंडों पर 31 जुलाई, 2024 तक रोक लगा दी है. इन मानदंडों के लिए नोटिफिकेशन एक दिन पहले यानी मंगलवार को जारी किए गए थे. नए मानकों पर रत्न और आभूषण उद्योग ने गंभीर चिंता जताई थी. सरकार ने सोमवार को सोने और चांदी के गहनों के एक्सपोर्ट के बारे में वेस्टेज की स्वीकार्य मात्रा और मानक कच्चा माल और तैयार माल से संबंधित संशोधित मानदंडों को नोटिफाई किया था. वहीं उद्योग ने दावा किया कि मानदंडों को बिना किसी परामर्श के अधिसूचित किया गया था. इस वजह से जेम्स एंड ज्वैलरी इंडस्ट्री के लिए अचानक स्थिति बदलने और नए नियमों के आने से दिक्कत हो रही है जिसके लिए कोई तैयारी नहीं है. इस दावे के बाद सरकार ने फिलहाल 31 जुलाई 2024 तक मौजूदा नियमों को ही बरकरार रखने और इंडस्ट्री की राय लेने के बाद नया फैसला लेने की बात मान ली.
डीजीएफटी ने उद्योग की राय लेने की बात कही
विदेश व्यापार महानिदेशालय (डीजीएफटी) ने मंगलवार को कहा कि अब संशोधित मानदंडों के संबंध में उद्योग की एक बार फिर राय ली जाएगी. निदेशालय ने कहा कि इस विषय पर उद्योग से पांच मार्च और 21 मार्च को राय ली गई थी. डीजीएफटी ने कहा कि उद्योग और रत्न तथा आभूषण निर्यात परिषद एक महीने के भीतर संबंधित मानदंड समिति को अपने सुझाव दे सकते हैं.
27 मई से पहले के मानदंड रहेंगे लागू
निदेशालय ने एक सार्वजनिक नोटिस में कहा कि ऐसे में डीजीएफटी 27 मई, 2024 की सार्वजनिक सूचना को तत्काल प्रभाव से 31 जुलाई, 2024 तक स्थगित करता है. इस बीच, 27 मई की नोटिस से पहले मौजूद अपशिष्ट मानदंड लागू रहेंगे. डीजीएफटी ने कहा कि अब संशोधित मानदंडों के बारे में जेम्स एंड ज्वैलरी इंडस्ट्री की एक बार फिर राय ली जाएगी और इसके बाद फैसला लिया जाएगा.