दिल्ली की सभी सात लोकसभा सीटों पर छठे चरण में मतदान हुआ था.
दिल्ली की राजनीति को लेकर कहा कि दो सीटों पर विपक्ष के उम्मीदवार चुनाव जीत सकते हैं
दिल्ली की सभी सात लोकसभा सीटों पर छठे चरण में मतदान हुआ था. अब दिल्ली में सियासी दलों की हार जीत को लेकर राजनीतिक विश्लेषक योगेंद्र यादव ने शुक्रवार को बड़ा बयान दिया है. उन्होंने दिल्ली की राजनीति को लेकर कहा कि दो सीटों पर विपक्ष के उम्मीदवार चुनाव जीत सकते हैं. हालांकि, इसको लेकर स्थिति स्पष्ट नहीं है.बातचीत में योगेंद्र यादव ने कहा, “दिल्ली और पश्चिम बंगाल के चुनाव परिणामों को लेकर मैं इस बार ज्यादा कॉन्फिडेंट नहीं हूं. ऐसा इसलिए कि इस बार मैंने दिल्ली के लोगों से प्रत्यक्ष तौर पर बातचीत नहीं की. जब तक ऐसा न करे लें, तब तक कोई भी मत देने को लेकर अंदर से भरोसा नहीं होता. सुनी सुनाई बातों पर राय देना मुझे सही नहीं लगता.”
AAP की चुनौतियों को लेकर क्या बोले योगेंद्र यादव? राजनीतिक विश्लेषक योगेंद्र यादव ने कहा कि दिल्ली में 20 प्रतिशत मतदाता ऐसे हैं, जो विधानसभा चुनाव में सीएम अरविंद केजरीवाल को वोट देते हैं, लेकिन लोकसभा चुनाव में वही मतदाता बीजेपी को वोट देते हैं. दिल्ली में आम आदमी पार्टी के लिए यही बड़ी चुनौती है. आप (AAP) इन 20 फीसदी मदताताओं में 10 प्रतिशत को भी अपने पक्ष में कर ले, तो परिणाम बदल सकता है. इसके लिए आम आदमी पार्टी मतदाताओं से यह कह सकती थी कि जब विधानसभा में वोट देते हैं तो एक बार लोकसभा में भी आप को वोट देकर देख लें.
“CM केजरीवाल की गिरफ्तारी से बदली धारणाएं”योगेंद्र यादव ने कहा, “दिल्ली के सीएम अरविंद केजरीवाल की गिरफ्तार के बाद दिल्ली में मतदाताओं का मन बदला है. लोगों के मन में ये धारणा कुछ हद तक बनी कि क्यों न इस बार लोकसभा में भी सीएम को वोट किया जाए? ऐसा करने में आम आमदी पार्टी जमीन पर कितना सफल हुई, इसका अनुमान मेरे पास नहीं है.”उन्होंने आगे कहा, “दिल्ली में आप (AAP) और कांग्रेस को मिलाकर जितना वोट है, उससे 16 प्रतिशत ज्यादा वोट अकेले बीजेपी को 2019 चुनाव में मिले थे. इसके बावजूद, मैं चाहता हूं कि दिल्ली में दो एक सीटों पर फर्क पड़ जाए. वैसे तो मैं चाहता हूं कि विपक्ष सातों सीट जीत जाए, पर फलीभूत होती नहीं दिखाई नहीं देती.”
यहां से है जीत की उम्मीद आम आदमी पार्टी उम्मीदवार महाबल मिश्रा को लेकर योगेंद्र यादव ने कहा, “पश्चिमी दिल्ली सीट से महाबल मिश्रा का चुनाव जीतने की उम्मीद है. हो सकता है उत्तर पूर्व दिल्ली से मनोज तिवारी चुनाव हार जाएं और कन्हैया कुमार की जीत हो.”