अज्ञात एवं लावारिसों को श्रद्धाजली देने के लिए मानव उपकार संस्था निकालेगी अस्थि विसर्जन यात्रा
संस्था के 181 पदाधिकारी हवाई जहाज से अस्थियों ले जाकर पशुपतिनाथ (नेपाल) में करेंगे विसर्जन
।पितृपक्ष में आम लोग अपने पूर्वजों की आत्मा की शांति के लिए जहां आप कर्म करते है, साथ ही वर्ष आदि कार्यक्रम करते है,
वहीं अलीगढ़ जनपद में पाई जाने वाली अज्ञात लावारिस शव की आत्मा की शांति के लिये मानव उपकार संस्था जहां ि शवों की रूह / आत्मा की शांति के लिये कुरानखानी करती है, यहीं हिन्दू धर्म के अनुसार उनकी आत्मा की शांति के लिये प्रय पितृपक्ष में उनकी अस्थियों को विसर्जन कर पिण्डदान, तर्पण और बाद करती है।वहीं अपने अलीगढ़ जनपद में तथा जी०आर०पी० अलीगढ़ थाना क्षेत्र के पाई जाने वाली सर्व धर्म समभाव के अंतगर्त मुस्लिग शो की रूह / आत्मा की शांति के लिए मुस्लिम धर्मानुसार संस्था द्वारा प्रत्येक वर्ष कार्यक्रम का आयोजन किया जाता है वही दूसरी और हिन्दू धर्मानुसार हिन्दू का मानव उपकार संस्था द्वारा अतिम संस्कार कर उनकी शिनोखा के सुरक्षित रखी हुई अस्थियों को सम्मान के साथ प्रत्येक वर्ष दिन्न तीर्थस्थलों पर मौजूद पवित्र नदियोंमानव उपटना के संरक्षक उमेश वार्ष्णेय ने पत्रकार पार्यो में जानकारी देते हुए कहा कि इस कलयुग के दौर में जहां एक कुछ लोग जी अपने माता-पिता की सेवा करने से मुंह मोड़ लेते है, एवं अपने परिजनों का पितृपक्ष में आम कर्म भी नहीं करते हैं, यहीं दूसरी तरफ उन अमार्ग एवं पराये अज्ञात शवों को मानव उपकार संस्था अपना कर जहां उनका अंतिम संस्कार करती है, वहीं विभिन्न धर्मानुसार उनकी आत्मा की शांति हेतु कार्य करती है. इसी परिपेक्ष में हिन्दू धर्म के शास्त्रों के अनुसार मृतक के अंतिम संस्कार के उपरान्त उसकी अस्थियों को जब तक गंगा में या किसी पवित्र नदी में विसर्जित नहीं किया जाता, साथ ही पितृपक्ष में तर्पण पिण्डदान एवं श्राद्ध कर्म नहीं किया जाता तब तक उस मृत व्यक्ति की आत्मा को शांति नहीं मिलतीसंस्थाध्यक्ष विष्णु कुमार बंटी’ में जानकारी देते हुए कहा कि इसी क्रम में गत दिनों मानव उपकार संस्था में मुस्लिम धर्म केशवों की रूह की शांति के लिए नुमाइश मैदान स्थित मस्जिद में कुरानख्वानी का आयोजन किया यही हिन्दू धर्म के अज्ञात लावारिसशवों के अंतिम संस्कार के उपरांत सुरक्षित रखी हुई 171 लावारिस शव व 1 किन्नर सहित 25 वारिसों की अस्थियों को मोक्ष प्रदान करते हेतु पितृपक्ष में पहली बार विदेश नेपाल स्थित पशुपतिनाथ मानव उपकार संस्था के 181 मानवसेवक हवाई जहाज द्वारा 30 सितम्बर 2023 दिन शनिवार को ज्यूपीटर लॉज आई०टी०आई० रोड से प्रस्थान करेगे। संस्था के चेयरमैन पंकज धीरज ने बताया कि नेपाल जाने से पूर्व अलीगढ़ महानगर में आम लोगों को उनके अंतिम दर्शन कराने एवं उनको श्रद्धाजलि प्रदान करने हेतु बुद्धवार 27 सितम्बर 2023 को साथ 4 बजे से प्रदर्शनी मैदान स्थित मुक्तिधाम से एक अंतिम दर्शन अस्थि कलश यात्रा निकाली जायेगी उससे पूर्व इन अस्थियों को अंतिम श्रद्धाजति देने हेतु अलीगढ़ जनपद के विभिन्नपुलिस व प्रशासनिक अधिकारी तथा विभिन्न जनप्रतिनिधि उपस्थित रहेगे।संस्था महामंत्री हरिकृष्ण मुरारी शर्मा ने बताया कि संस्था द्वारा अभी तक गया. गंगासागर हरिद्वार प्रयाग अयोध्या उजैन, चित्रकुट, बनारस, सौरो जी द्वारका, सोमनाथ रामेश्वरम कन्याकुमारी, अनुपशहर राजघाट, नरौरा गढ़मुक्तेश्वर पुरी धा ज्योतिर्लिंग पुरियो सहित गया गंगासागर आदि तीर्थ स्थलों पर विसर्जन करने के उपरांत पहली बार नेपाल जाकर अस्थियों का विसर्जन किया जायेगा।नेपाल अस्थि विसर्जन यात्रा के संयोजक किशन गुप्ता एवं राजीव वार्ष्णेय धर्मकांटा ने बताया कि संस्था के 101 मानवसेवक 196 लावारिस शवों की अस्थियों को नेपाल की राजधानी काठमांडू में बागमती नदी में विसर्जन करने के उपरान्त उनका पिण्डदान तर्पण व श्राद्ध कर पशुपतिनाथ, भोलेश्वर महादेव, मनोकामना देवी, सीता मझ्या की जन्मस्थली जनकपुर, विनयवासनी मंदिर, गुप्तेश्वर गुफा आदि तीर्थ स्थली के दर्शन कर मोक्ष की कामना करेगें।