धार्मिक

शनि देव की पूजा में तांबे के बर्तनों का उपयोग नहीं करना चाहिए क्योंकि तांबा सूर्य की धातु है और ज्योतिष शास्त्र में शनि-सूर्य एक-दूसरे के शत्रु हैं

शनि का प्रकोप झेलना पड़ सकता है. शनि देव की पूजा में हमेशा लोहे या स्टील के बर्तनों का इस्तेमाल करें.

शनि देव की पूजा में तांबे के बर्तनों का उपयोग नहीं करना चाहिए क्योंकि तांबा सूर्य की धातु है और ज्योतिष शास्त्र में शनि-सूर्य एक-दूसरे के शत्रु हैं. ऐसा करने पर शनि का प्रकोप झेलना पड़ सकता है. शनि देव की पूजा में हमेशा लोहे या स्टील के बर्तनों का इस्तेमाल करें.शनि देव को भूल से भी लाल रंग के फूल, लाल रंग का कपड़ा नहीं चढ़ाना चाहिए, क्योंकि ये रंग मंगल का है. शनि और मंगल विरोधी हैं. शनि देव को गेंदे का फूल चढ़ाने से बचना चाहिए. इससे भी वह रुष्ट हो जाते हैं.शनि देव की पूजा में पीला चंदन इस्तेमाल नहीं किया जाता. शनि महाराज को हमेशा लाल चंदन लगाएं. इससे साढ़ेसाती के अशुभ प्रभाव में कमी आती है.शनि देव को भोग में खिचड़ी अर्पित कर रहे हैं तो उसमें मसूर की दाल न डालें. इससे शनि क्रोधित हो जाते हैं.

क्योंकि मसूर दाल मंगल ग्रह की पूजा में चढ़ाई जाती है.शनि देव की पूजा सुबह, दोपहर नहीं बल्कि सूर्यास्त के बाद करनी चाहिए. सूर्योदय के समय सूर्य की किरणें शनि की पीठ पर पड़ती हैं. ऐसे में इस दौरान शनि देव पूजा स्वीकार नहीं करते. इसलिए सुबह शनि की पूजा न करें.जब भी शनि देव की पूजा करें तो लाल रंग के कपड़े पहनने से बचें. आप उनके प्रिय रंग जैसे नीले और काले वस्त्र पहन सकते हैं.

JNS News 24

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

error: Content is protected !!