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थायरॉइड की समस्या है तो उसकी आंखें इसका इशारा करती है. हालांकि, बार-बार अनदेखा करने के चलते समस्या बढ़ जाती

हाइपरथायरायडिज्म मरीजों में ये समस्या ज्यादा देखने को मिलती है.

 थायरॉइड की समस्या है तो उसकी आंखें इसका इशारा करती है. हालांकि, बार-बार अनदेखा करने के चलते समस्या बढ़ जाती है. थाइरॉइड के मरीजों की आंखों के आसपास की मांसपेशियों और टिशूज पर इम्यून सिस्टम अटैक करता  है, जिससे आईबॉल पर सूजन नजर आने लगती है. ऐसा लगता है जैसे सॉकेट निकलकर बाहर आ जाएंगी. थायरॉइड आई डिजीज में इम्यून सिस्टम संक्रमण से लड़ने की बजाय गलती से थायरॉइड ग्लैंड पर ही अटैक करता है, जिससे थायरॉइड हार्मोन जरूरत से ज्यादा या कम बनने लगते हैं, जिसका प्रभाव आंखों पर देखने को मिलता है.आई स्पेशलिस्ट के मुताबिक, थायरॉइड (Thyroid) ऐसा ग्लैंड है जो गले में मौजूद रहता है. इस ग्लैंड से थायरॉइड हार्मोन निकलता है. जिसकी मदद से शरीर कई काम करने में सक्षम बनता है. अगर थायरॉइड ग्लैंड के काम में किसी तरह की समस्या आ जाए तो इसका असर आंखों या उसके आसपास के हिस्सों पर पड़ने लगता है. थायरॉइड आई डिजीज एक तरह का ऑटोइम्यून बीमारी है, जो आंखों को सीधे तौर पर नहीं बल्कि उसके आस-पास के टिश्यू को नुकसान पहुंचाने का काम करती है.
थायरॉइड आई डिजीज का संकेत देता है ये लक्षण
इस बीमारी के होने पर आंखों की मांसपेशियां और पीछे के फैटी टिश्यू में सूजन आने लगती है. ज्यादा हाइपरथायरायडिज्म मरीजों में ये समस्या ज्यादा देखने को मिलती है. ऐसे लोग जिनमें थायरॉइड की समस्या नहीं है, उन्हें भी कुछ कंडीशन में ये बीमारी हो सकती है. आंखों का बाहर की ओर निकलना थायरॉइड आई डिजीज का सबसे कॉमन लक्षण है. इसका दूसरा लक्षण पलकों का ऊपर उठना है, जिससे आंखें बड़ी-बड़ी लगने लगती है. इसके अलावा पलकों में सूजन, डबल नजर आना भी इसी बीमारी के लक्षण हैं. कुछ गंभीर मामलों में नजर कमजोर भी हो सकती है.
जा सकती है आंखों की रोशनी
आंखों के विशेषज्ञों के मुतबिक, थायरॉइड आई डिजीज मुख्य तौर से हाइपर थायराइड बीमारी में होता है. ऐसी कंडीशन में थायराइड ग्रंथि बहुत ज्यादा मात्रा में हार्मोन का उत्पादन करने लगती है.हाइपरथायरायडिज्म आंखों पर निगेटिव असर डाल सकता है, जिसे थायरॉइड ऑप्थाल्मोपैथी भी कहते हैं. इससे हार्ट भी प्रभावित हो सकती है. जिसे एरिथमिया कहते हैं.हाइपरथायरायडिज्म दिमाग के टिश्यू और पेरीफेरल नर्वस के साथ ब्रेन को भी प्रभावित कर सकता है. जिससे हाथ-पैर में झनझनाहट, सुन्नपन, कमजोरी, दर्द, जलन महससू हो सकता है या दिमाग भी कम काम कर सकता है. इतना ही नहीं हाइपरथायरायडिज्म की वजह से कार्निया को नुकसान पहुंच सकता है. यहां तक की अंधेपन की समस्या भी हो सकीत है.
थायरॉइड आई डिजीज का इलाज
  • आंखों की समस्याएं पर रखें नजर
  • डॉक्टर की सलाह पर एंटी थायरॉइड दवाईयां ले सकते हैं
  • डॉक्टर की सलाह पर सिस्टेमिक और टोपिकल स्टेरॉयड की हाई डोज का इस्तेमाल
  • आंखों के लुब्रिकेंट्स का बार-बार इस्तेमाल
  • आंखों को कवर करके
  • आंखों से जुड़े एक्सपर्ट्स से सलाह लें.

JNS News 24

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