उत्तरप्रदेश

प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने शनिवार को अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस के मौके पर गुजरात के नवसारी जिले में ‘लखपति दीदी’ योजना के लाभार्थियों से बातचीत की

लखपति दीदी सम्मेलन’ में शामिल हुए मोदी ने 25,000 से अधिक स्वयं-सहायता समूहों (एसएचजी) की 2.5 लाख से अधिक महिलाओं को 450 करोड़ रुपये की वित्तीय सहायता भी वितरित की

प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने शनिवार को अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस के मौके पर गुजरात के नवसारी जिले में ‘लखपति दीदी’ योजना के लाभार्थियों से बातचीत की। वानसी बोरसी गांव में ‘लखपति दीदी सम्मेलन’ में शामिल हुए मोदी ने 25,000 से अधिक स्वयं-सहायता समूहों (एसएचजी) की 2.5 लाख से अधिक महिलाओं को 450 करोड़ रुपये की वित्तीय सहायता भी वितरित की। ‘लखपति दीदी’ योजना केंद्र सरकार द्वारा 2023 में शुरू की गई थी और इसमें स्वयं सहायता समूहों की महिला सदस्यों को उन ‘लखपति दीदी’ के रूप में मान्यता दी गई है जिनकी कृषि, पशुपालन और छोटे उद्योगों से कम से कम एक लाख रुपये की वार्षिक आय है। मोदी ने ‘लखपति दीदियों’ के एक समूह के साथ ‘प्रेरणा संवाद’ में भाग लिया, जिसमें महिलाओं ने अपने अनुभव साझा किए। इस मौके पर गुजरात के मुख्यमंत्री भूपेंद्र पटेल और नवसारी के सांसद सी आर पाटिल भी मौजूद थे। अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस पर आयोजित इस कार्यक्रम में सुरक्षा के लिए केवल महिला पुलिस कर्मियों को ही तैनात किया गया था।  राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव ने महिला दिवस पर बड़ा ऐलान किया है. बीते दिनों अखिलेश ने ऐलान किया था कि साल 2027 में अगर, जनता सपा की सरकार चुनती है तो पार्टी ‘स्त्री सम्मान-समृद्धि योजना’ लाएगी.हालांकि उस वक्त सपा चीफ ने यह स्पष्ट बताया था कि इस योजना में क्या होगा और राज्य की बेटियों और महिलाओं को इससे कैसे लाभ मिलेगा. अब महिला दिवस पर अखिलेश ने इसका जवाब भी दिया है. सोशल मीडिया साइट एक्स पर अखिलेश ने एक पोस्ट कर इस संदर्भ में विस्तृत जानकारी दी.सपा चीफ ने दी ये जानकारी कन्नौज सांसद ने लिखा- अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस की हार्दिक बधाई और शुभकामनाएँ!  हम 2027 में ‘स्त्री सम्मान-समृद्धि योजना’ लाएंगे और हर बालिका, युवती, नारी को सबल बनाएंगे.

राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने भी महिला दिवस के मौके पर एक्स पर पोस्ट किया. उन्होंने लिखा, “अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस पर सभी को बधाई! आज हम महिलाओं की उपलब्धियों और योगदान का जश्न मनाते हैं. हम महिलाओं के अधिकारों, समानता और सशक्तिकरण के लिए ठोस प्रयास करने का भी संकल्प लेते हैं. हमारी बहनें और बेटियां कांच की छतें तोड़ रही हैं और सीमाओं को लांघ रही हैं. आइए हम महिलाओं को उनकी यात्रा में समर्थन देने का संकल्प लें, यह सुनिश्चित करते हुए कि कोई भी पीछे न छूट जाए क्योंकि वे विभिन्न क्षेत्रों में नए रास्ते बना रही हैं. साथ मिलकर हम एक लैंगिक समानता वाली दुनिया बना सकते हैं जहाँ महिलाएँ और लड़कियाँ बिना किसी डर के अपने सपनों को पूरा कर सकती हैं.”

अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस के मौके पर शिवसेना (UBT) सांसद प्रियंका चतुर्वेदी ने महिलाओं के संघर्ष को लेकर बड़ा बयान दिया है. उन्होंने कहा कि यह दिन सिर्फ एक उत्सव नहीं, बल्कि महिलाओं के अधिकारों और उनके हक के लिए जारी लड़ाई की याद दिलाने वाला दिन है, प्रियंका चतुर्वेदी ने कहा, “महिला दिवस मेरे लिए यह याद दिलाने का दिन है कि देश और दुनिया की महिलाएं अब भी अपने हक और अपने स्थान के लिए संघर्ष कर रही हैं. वे अब भी हर करियर विकल्प में अपनी जगह बनाने के लिए लड़ रही हैं, अपनी आवाज को सुने जाने के लिए लड़ रही हैं, और उन स्थानों तक पहुंचने के लिए प्रयास कर रही हैं, जहां निर्णय लिए जाते हैं. उन्होंने आगे कहा कि महिलाओं की यह लड़ाई किसी एक दिन की नहीं है, बल्कि यह एक ऐसा आंदोलन है जो तब तक चलता रहेगा जब तक कि दुनिया की 50 फीसदी आबादी को निर्णय लेने की मेज पर समान भागीदारी नहीं मिलती.महिलाओं को निर्णय लेने वाली जगहों पर होना जरूरीप्रियंका चतुर्वेदीप्रियंका चतुर्वेदी ने इस बात पर जोर दिया कि समाज में वास्तविक बराबरी तभी आएगी जब महिलाओं को उन जगहों पर रखा जाएगा जहां बड़े फैसले लिए जाते हैं. उन्होंने कहा कि महिला सशक्तिकरण के लिए सिर्फ नारे लगाने से कुछ नहीं होगा, बल्कि उनके लिए अवसर और सुविधाएं सुनिश्चित करनी होंगी ताकि वे हर क्षेत्र में अपनी जगह बना सकें.

महिला दिवस कविता-‘सपनों में भागती लड़की’

सपनों में भागती
एक स्त्री का पीछा करते
कभी देखा है तुमने उसे
रिश्तों के कुरुक्षेत्र में
अपने…आपसे लड़ते।
रसोई और बिस्तर के गणित से परे
एक स्त्री के बारे में।
तन के भूगोल से परे
एक स्त्री के
मन की गांठे खोलकर
कभी पढ़ा है तुमने
उसके भीतर का खौलता इतिहास।
अगर नहीं
तो फिर जानते क्या हो तुम।

 

 

 

 

 

 

 

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