जिलाधिकारी ने आईजीआरएस पर प्राप्त एवं लंबित शिकायतों के निस्तारण में लापरवाही पर जताई नाराजगी, अधिकारियों के साथ की समीक्षा बैठक
अगले माह समीक्षा में लापरवाह टॉप 5 अधिकारियों को मिलेगी प्रतिकूल प्रविष्टि

अलीगढ़ : जिलाधिकारी संजीव रंजन ने कलैक्ट्रेट सभागार में आईजीआरएस पोर्टल पर प्राप्त जन शिकायतों के समयबद्ध निस्तारण में हो रही देरी एवं असंतोषजनक फीडबैक पर गहरी नाराजगी जाहिर की। जिलाधिकारी ने निर्देश दिए कि जन शिकायतों का त्वरित, गुणवत्तापूर्ण एवं प्रभावी निस्तारण प्रशासन की प्राथमिक जिम्मेदारी है। उन्होंने कहा कि कई विभागों द्वारा आईजीआरएस पोर्टल पर दर्ज शिकायतों का समय से समाधान नहीं किया जा रहा है, जिससे शासन स्तर से प्राप्त फीडबैक असन्तोषजनक रहा है। यह स्थिति जनता के बीच शासन की छवि को प्रभावित करती है, जिसे किसी भी स्थिति में स्वीकार नहीं किया जाएगा। डीएम ने कहा कि शासन स्तर से 50 फीसद से अधिक शिकायतकर्ताओं से कॉल कर निस्तारण के बारे में फ़ीडबैक लिया जा रहा है। मार्च माह में जिले को असंतोषजनक फ़ीडबैक में 30 में से मात्र 8 अंक ही मिल सके हैं। उन्होंने निर्देश दिए कि प्रथम बार शिकायत प्राप्त होते ही गुणवत्तापूर्ण निस्तारण सुनिश्चित किया जाए। समस्या निस्तारण के वक्त शिकायतकर्ता से संवाद अवश्य करें बैठक के दौरान जिलाधिकारी ने विभागवार लंबित शिकायतों की समीक्षा की और संबंधित अधिकारियों से निस्तारण में हो रही देरी के कारणों की जानकारी लेते हुए असंतोषजनक उत्तर पर फटकार भी लगाई। उन्होंने सख्त चेतावनी देते हुए कहा कि यदि शिकायतों का समय से समाधान नहीं हुआ तो संबंधित अधिकारियों की व्यक्तिगत जवाबदेही तय की जाएगी और उनके विरुद्ध अनुशासनात्मक कार्यवाही भी की जा सकती है। उन्होंने कहा कि अगली बैठक में लापरवाह ऊपर के 5 अधिकारियों को प्रतिकूल प्रविष्टि दी जाएगी। समीक्षा में मार्च माह में नगर निगम में 80, सभी तहसीलों में एसडीएम एवं तहसीलदार स्तर पर 440, एक्सईएन विद्युत 51 स्तर पर असंतोषजनक फीडबैक पाए गए। अपर जिलाधिकारी वित्त एवं राजस्व मीनू राणा ने सभी विभागों को निर्देशित किया कि वे आईजीआरएस पोर्टल पर प्राप्त सभी शिकायतों को प्राथमिकता पर लें, प्रत्येक शिकायत का तर्कसंगत एवं स्थायी समाधान सुनिश्चित करें और शिकायतकर्ता को संतुष्टिपूर्वक जवाब दें, साथ ही निस्तारण की गुणवत्ता पर भी विशेष ध्यान दिया जाए ताकि फीडबैक सकारात्मक प्राप्त हो। उन्होंने कहा कि जन शिकायतों का प्रभावी समाधान ही प्रशासन की विश्वसनीयता का आधार है और इस कार्य में किसी भी स्तर पर लापरवाही क्षम्य नहीं होगी। उन्होंने कहा कि अधिकारी आख्या समय से भेजने के साथ ही स्थलीय निरीक्षण के फोटो अवश्य संलग्न करें। बैठक में नगर मजिस्ट्रेट रामशंकर, समस्त एसडीएम, पीडी डीआरडीए भाल चन्द त्रिपाठी, डीडीओ आलोक आर्य, जिला आपूर्ति अधिकारी अभिनव सिंह सहित सभी बीडीओ, एडीओ एवं अन्य विभागों के अधिकारी उपस्थित रहे।